ग्वालियर : 28/7/2023 : मध्यप्रदेश नर्सिंग काउंसिल के अधिवक्ता व अतिरिक्त महाधिवक्ता विवेक खेड़कर ने कोर्ट को बताया कि 272 कॉलेजों का 2022 में निरीक्षण कराया था | जिसमें 93 कॉलेज ऐसे हैं जिन्हें मान्यता प्रदान नहीं की गई | कोर्ट ने कहा कि ऐसे कॉलेजों में नर्सिंग के सर्टिफिकेट दिए जा रहे हैं जहां कुछ नहीं है | ये सर्टिफिकेट लेने के बाद सरकारी व निजी अस्पतालों में कैसे काम करने जाएंगे | इन कॉलेजों का निरीक्षण किया जाए और इनकी खामियों के बारे में बताया जाए | हाईकोर्ट की युगल पीठ के समक्ष केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो ने 364 नर्सिंग कॉलेजों में से 140 की जांच रिपोर्ट पेश कर दी है | इस रिपोर्ट में सामने आया है कि एक ही बिल्डिंग में नर्सिंग, पोस्ट बेसिक नर्सिंग व बीएड कॉलेज चल रहे हैं | रिपोर्ट पर नाराजगी जताते हुए हाईकोर्ट ने तल्ख लहजे में कहा कि नर्सिंग कॉलेज दुकान की तरह चल रहे हैं, एक टेबल कुर्सी लगाकर सिर्फ विद्धार्थियों से फीस वसूली जा रही है | यही नही प्रदेश के आयुर्विज्ञान विश्वविद्दालय जबलपुर को लेकर कहा कि पहले प्रदेश के मेडिकल कॉलेजों का नाम था, लेकिन विवि खोलकर पूरी व्यवस्था को ही चौपट कर दिया है | कोर्ट के रोकने के बाद भी परीक्षाएं करवाई जा रही हैं, गुरुवार को सुनवाई के दौरान सीबीआई ने जांच रिपोर्ट पेश की, जिन कॉलेजों की जांच हुई है उनमें अधिकांश कॉलेज इंफ़्रास्ट्रक्चर, फ़ैकल्टी, स्टाफ और लैब जैसे मापदंड पूरे नहीं करते | कोर्ट ने सीबीआई को आदेश दिया है कि काउंसिल को सूची प्रदान की जाए | काउंसिल की टीम ने निरीक्षण किए थे, उनकी रिपोर्ट तलब की है | कोर्ट ने पूछा जो कॉलेज मौके पर नहीं हैं क्या उन पर एफआईआर नहीं होनी चाहिए ? निरीक्षण टीम ने संबद्धता की अनुशंसा की, उसके खिलाफ कार्रवाई नही होनी चाहिए ? | इस पर अतिरिक्त महाधिवक्ता ने कहा कि कारवाई के लिए ही सूची मांग रहे हैं | जिनहोने मान्यता के लिए सिफ़ारिश की है |
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